अब कलाकारन के जिम्मेदारी महज फिलिमे ले नइझे समेटात. ओह लोग के फिलिम बनवला से ले के ओकरा प्रचार-प्रसार हर बात में अहम भूमिका निभावे के पड़त बा.
भोजपुरी सुपरस्टार दिनेशलाल यादव ‘निरहुआ’ कहेलें कि “हमरा विचार से फिलिम के मुख्य कलाकारन ला ई बहुते जरूरी हो गइल बा काहे कि फिलिम आजुकाल्ह मार्केटिंगे का बल प चलत बाड़ी सं. अब के फिलिम डायमंड जूबली भा गोल्डन जुबली छोड़ीं सिल्वरो नइखी मनावत सँ. अब त सउवो दिने कवनो फिलिम मुश्किले से चलत बा. अगर वीकेंड बढ़िया से निपट गइल त बूझ ली कि रउरा सुरक्षित हो गइनी. अइसना में प्रमोशन कइल जरूरी हो जा ता. हम त इ कबो ना कइनी कि एक्टिंग करऽ आ घरे जा. आखिर हमनी का अपना फिलिम के खास हिस्सा होखीले सँ. जइसे कि अगर माटी के पुतला बनावे चलीं त ओकरा के आंख दीहल, मुंह दीहल, चेहरा प भाव दीहल …… तब जा के पुतला पूरा होला. इहे राउर किरदार होला. अगर सिरिफ अभिनये करे के होखे त एगो सीन दे दिहनी आ फेर घरे चल गइनी. अइसन नइखे होखत आजु काल्हु. जिल्द में स्क्रिप्ट मिलेला, ओकर रीडिंग होखेला, वर्कशॉप होखेला, शूटिंग करे से पहिले होमवर्क करे के पड़ेला.”
निरहुआ कहेलें कि “कवनो फिलिम साइन करे से पहिले देखीलें कि बैनर कइसन बा ? प्रोडयुसर होखे जे अपना स्क्रिप्ट के पूरा करावे के बेंवत राखत होखे. ओकरा बाद कहानी पढ़ीलें. देखीलें कि डायरेक्टर का खास कइले बाड़न ? डायरेक्टर के बैकग्राउंड का बा ? आखिरकार उहे फिलिम के ड्राईवर होला. जब लागेला कि इ फिलिम हमहू देखल चाहब तबहिए फिलिम करीलें.”
निरहुआ के इहे खूबी उनुका के दोसरा नायकन से बढ़ के बनावेले.
चलत चलत बतावत चलीं कि आजु काल्हु निरहुआ अपना होम प्रोडक्शन फिलिम ‘निरहुआ हिन्दुस्तानी’ में व्यस्त बाड़न.
(प्रशांत निशांत)