जफर कमाल के फिलिम “गुलाब थिएटर” सितम्बर महीना में बिहार में रिलीज होखे वाल बा. एकर निर्माता मेंहदी हसन आ लेखक-निर्देशक कमर हाजीपुरी हउवें.

‘गुलाब थियेटर’ में दुनिया भर के थिएटर कलाकारन के दरद भरल जिनिगी देखावल गइल बा. कहानी में देखावल गइल बा कि नेशनल स्कूल ऑफ ड्रामा से सीख के आइल लड़िकी रूबी सिंह मजबूर होके गुलाब थियेटर धर लेत बाड़ी आ उनुका नाम मिलत बा गुलाब बाई के. रुबी के तरह तरह के मुसीबत झेले पड़त बा जवना में थिएटर के मालिक के धौंस, पुलिसवालन के खराब हरकत, नेतवन के ललचाइल नजर, गँवई ज़मींदारन के अत्याचार आ खराब नाम. गुलाब बाई सब कुछ झेलत बाड़ी. एह बीच उनुका जीवन में मसीहा बनके एगो ड्राइवर कौशल सिंह आ जाता आ जब जिनिगी के गाड़ी पटरी पर चलही वाला होखत बा तबे रुबी के पुरान प्रेमी विकास कुमार सामने आ जात बा. रुबी अपना के एगो दोराहा पर पावत बाड़ी. आगे जवन होखत बा ऊ फिलिम के एगो दिलचस्प मोड़ बा.

कैमरामैन त्रिलोकी चौधरी, सह-निर्माता गुफरान अहमद अउर बबीता रितु, संगीतकार सी. बनवीर अउर सतीश मुन्ना, गीतकार विरेन्द्र पाण्डे अउर कमर हाजीपुरी, नृत्यनिर्देशक निहाल सिंह, संपादन नकुल प्रसाद के आ एक्शन दर्शन सिंह के बा. प्रमुख कलाकारन में विनय आनंद, कल्पना शाह, सुमित बाबा, बृजेश त्रिपाठी, विजय खरे, क्षितिज प्रकाश, अर्जुन सिंह, इफ़्तखार अहमद, गुड्डू, इलियास अउर आइटम क्वीन सीमा सिंह बाड़ी.


(समरजीत के रपट)

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