कह देब हो राजा रात वाली बतिया
भोला बाबू ओह दिन एगो बारात में शामिल रहलन. महफिल जमल त केहू नाचे वाली के इशारा कर दिहल आ ऊ नाचे वाली आके भोला बाबू के सामने बइठ गइल…
लोकतंत्र के हत्या
भोला बाबू खीसे फनफनाइल रहलें. पुछनी कि का बात हऽ त बिफर पड़लें. कहे लगले, नीतीश त हदे कर दिहलें. अइसनो कइल जाला ? लोकतंत्र के कमजोर कर के राख…
बात के दू गो मतलब
भोला बाबू बाजारे गइल रहलन. बाजार से गुजरत घरी उनका कान में एगो औरत आ एगो मरद के बात सुनाई दिहलसि. थोड़ देर रुक के ऊ सुने लगलन. मेहररुआ कहलसि…