मीडिया के कुकुरन से एगो सवाल
एह लेख के मथैला पढ़ि के हो सकेला कि कुछ कुकुर नाराज हो जासु. कुछ भनक के भनभनाए लागसु भा कुछ भड़कि के भिड़े ला आ जासु. एहसे सवाल का…
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एह लेख के मथैला पढ़ि के हो सकेला कि कुछ कुकुर नाराज हो जासु. कुछ भनक के भनभनाए लागसु भा कुछ भड़कि के भिड़े ला आ जासु. एहसे सवाल का…
- भगवती प्रसाद द्विवेदी भोजपुरिया समाज शुरुए से कबो ना थाके वाली मेहनत, जीवटता, संघर्षशीलता आ अपना दम-खम आउर बल-बेंवत का बदउलत मन माफिक मुकाम हासिल करे खातिर जानल जाला।…
भोजपुरी लोक-रंग के प्रतीकःभिखारी - डॉ0 अशोक द्विवेदी अपना समय सन्दर्भ में भिखारी ठाकुर, अपना कला-निष्ठा आ कबित-विवेक वाला रंग-कर्म से अपना समय के सर्वाधिक लोकप्रिय कलाकार रहलन। ऊ लोकनाट्य-परम्परा…
श्री सत्यवादी छपरहिया ‘अगस्त’ संस्कृत ‘अगस्त्य’ आ अँगरेजी ‘औगस्ट’ के भोजपुरी रूप हवे. एह शब्द से कई एक गो माने-मतलब निकलेला. पौराणिक युग में अगस्त नाँव के एगो लमहर ज्ञानी-ध्यानी…
मुक्तेश्वर तिवारी ‘बेसुध’ (चतुरी चाचा) नाँव सुनिके चिहुकीं, चिहाईं जनि. मलेरिया, फाइलेरिया, हिस्टीरिया, डायरिया वगैरह बेमारिये नीअर ‘चेयर-चिपकेरियो’ एगो बेमारी हवे जेवन आजु काल्हि हमरा देश में बड़ा जोर-शोर से…
सौरभ पाण्डेय एह में कौनो संदेह ना, जे लोकसभा के 2014 के चुनाव से, आ फेरु 2019 के आमचुनाव में दोहरियाइ के, एगो अइसना केन्द्र-सरकार के गठन भइल बा, जवन…
शशि प्रेमदेव दीया-दियारी का दीने मोबाइल पर सबेरहीं उहाँ के फोन आइल . अकसरहा हर तिवहार भा जनमदिन का मोका पर फोन का जरिए हमके ‘शाकिब सर’ के बधाई आ…
लव कांत सिंह ’लव’ एतवार के दिन होखे त सब लोग फटाफट आपन काम निपटा लेवल चाहत रहे, सभे जल्दी-जल्दी बाजार से लवट के आ जात रहे, दोकानदार अपना-अपना रेडियो…
डॉ अर्जुन तिवारी न समझने की ये बातें हैं न समझाने कीजिंदगी उचटी हुई नींद है दीवाने की. फिराक गोरखपुरी दुख-सुख, हर्ष-विषाद, आशा-निराशा, हानि-लाभ, जीवन-मरण, यश-अपयश के चलते हमनी के…